टोक्यो से लौटे खिलाड़ी: एयरपोर्ट से होटल तक पदक विजेताओं की झलक पाने को उमड़े लोग, जानें किसने क्या कहा

न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली Published by: Vikas Kumar Updated Tue, 10 Aug 2021 02:05 AM IST

सार

खेल मंत्री ने अनुराग ठाकुर ने कहा कि टोक्यो में देश के लिए बहुत कुछ पहली बार हुआ। पहली बार भारत का सबसे बड़ा दल गया, सात मेडल आए, एथलेटिक्स में 121 साल का इंतजार नीरज चोपड़ा ने स्वर्ण पदक दिलाकर पूरा किया। 
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टोक्यो ओलंपिक में पदक जीतने वाले खिलाड़ियों का हुआ सम्मान
टोक्यो ओलंपिक में पदक जीतने वाले खिलाड़ियों का हुआ सम्मान - फोटो : amar ujala
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विस्तार

टोक्यो से तिरंगे का मान बढ़ाकर लौटे पदक विजेताओं का एयरपोर्ट पर जोरदार स्वागत किया गया। भाला फेंक में स्वर्ण पदक जीतने वाले नीरज चोपड़ा, पहलवान रवि कुमार दहिया, बजरंग पूनिया, मुक्केबाज लोवलीना और महिला हॉकी टीम की एक झलक पाने के लिए लोग बेताब दिखे।
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बजरंग, रवि को तो खुली गाड़ी में जुलूस निकालकर ले जाया गया। देर शाम खेल मंत्री अनुराग ठाकुर और पूर्व खेल मंत्री किरन रिजीजू ने सभी पदक विजेताओं को स्मृति चिह्न देकर सम्मानित किया। नीरज चोपड़ा को लेने खुद उनके माता-पिता आए। भावुक नीरज ने इस दौरान अपने पिता के गले में टोक्यो में जीता गया स्वर्ण पदक डाल दिया। नीरज बोले ये मेरा नहीं पूरे देश का स्वर्ण है। नीरज ने अपने लंबे बालों को कटवाने का भी खुलासा किया। उन्होंने कहा कि नौ साल की उम्र से लंबे बाल हैं। ओलंपिक से पहले बड़े बालों से परेशानी होने लगी। पसीने से चिपक जाते थे। ओलंपिक में दिक्कत नहीं आए तो उन्हें कटवा दिया। रवि दहिया व बजरंग पूनिया के लिए उनकी माताओं ने चूरमा बनाया। दोनों खिलाड़ियों का चूरमा खिलाकर स्वागत किया गया। 


खेल मंत्री ने अनुराग ठाकुर ने कहा कि टोक्यो में देश के लिए बहुत कुछ पहली बार हुआ। पहली बार भारत का सबसे बड़ा दल गया, सात मेडल आए, एथलेटिक्स में 121 साल का इंतजार नीरज चोपड़ा ने स्वर्ण पदक दिलाकर पूरा किया। खेल मंत्री ने कहा कि राष्ट्रगान टोक्यो में बज रहा था लेकिन गर्व के साथ हिंदुस्तानियों के सिर पूरी दुनिया में ऊंचे हो रहे थे। उन्होंने मनप्रीत से कहा कि वह यही कहेंगे कि 41 साल इंतजार छोटा नहीं होता। आपके खिलाड़ियों ने देश के लोगों में पदक जीतकर जज्बा भरा है। उसके लिए शुभकामनाएं। 

महिला हॉकी खिलाड़ियों के लिए उन्होंने कहा कि बेटियों ने पूरे भारत का नाम ऊंचा किया है। अदिति अशोक ने बड़ा काम किया। भवानी और नेत्रा ने पहली बार क्वालिफाई कर बड़ा काम किया। पुरुषों की चार गुणा चार सौ मीटर रिले में एशियाई कीर्तिमान बनाया। रोअरों ने सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया। अविनाश साबले ने राष्ट्रीय कीर्तिमान बनाया।

मैंने सोचा कि यह अंतिम बाउट है। अगर मेरा घुटना टूट भी जाएगा तो कोई बात नहीं पदक आना चाहिए। बस इस लिए घुटने का कैप उतार दिया। -बजरंग

मुझे पता था देश के लोग बहुत खुश हैं। भारत आकर और अच्छा लग रहा है। मैं सोच रही थी कि स्वर्ण जीतना है। आगे पेरिस ओलंपिक में यही कोशिश रहेगी मैं स्वर्ण लेकर आऊं। -लोवलीना

लॉकडाउन के दौरान एकांतवास के समय में बंगलूरू में थे। तब खेल मंत्री ने मुझसे कहा कि कोई दिक्कत हो तो मुझसे सीधे बात करिए और सिर्फ ओलंपिक पर फोकस करिए। अब यह टीम एक परिवार बन गई है। सब वापस फिर से तैयारी में जुट जाएंगे। लेकिन श्रीजेश थोड़ा देर से आ सकते हैं क्योंकि उनके बच्चे घर पर उनका इंतजार कर रहे हैं। -मनप्रीत सिंह

मुझे ग्रेट वॉल इंडिया के नाम से जाना जाता है, लेकिन सविता ने जिस तरह से टीम के लिए गोलकीपिंग की है मैं उन्हें ग्रेट वॉल ऑफ इंडिया का नाम देना चाहता हूं। -पीआर श्रीजेश

सुशील, योगेश्वर को मैंने पदक जीतते देखा। उन्हें सम्मान मिलते देखा तो लगा मैं जीता तो मुझे भी ऐसा सम्मान मिलेगा वहीं से प्रेरणा मिली। -रवि कुमार दहिया

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