
कोरोना महामारी के बीच संसद का मॉनसून सत्र 14 सितंबर से प्रारंभ होगा
खास बातें
- संसद परिसर में भी स्वास्थ्य जांच के इंतजाम होंगे
- प्रवेश के समय थर्मल गन और स्कैनर से होगी जांच
- मीडियाकर्मियों के लिए कोविड टेस्ट होगा अनिवार्य
Coronavirus Pandemic: लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला (Om Birla) ने संसद के मॉनसून सत्र (Monsoon Session) से संबंधित तैयारियों को अंतिम रूप देने के लिए आज स्वास्थ्य मंत्रालय, AIIMS, ICMR, DRDO एवं दिल्ली सरकार के स्वास्थ्य विभाग के विशेषज्ञों के साथ बैठक की. इस दौरान उन्होंने निर्देश दिया कि मॉनसून सत्र के मद्देनजर स्वास्थ्य सुरक्षा को लेकर विशेष सतर्कता बरती जाए और संसद परिसर में भी स्वास्थ्य जांच के लिए व्यापक इंतजाम किए जाएं. लोकसभा स्पीकर ने कहा कि संक्रमण न फैले तथा संसद चले, इसके लिए विशेषज्ञों के सुझाव के अनुसार सारी तैयारी की जाएंगी तथा संसद परिसर के भीतर व्यापक सुरक्षा प्रबंधों के साथ सत्र चलेगा. सभी सांसदों से आग्रह किया जायेगा कि वे अपना कोविड-19 टेस्ट कराएं. लोकसभा अध्यक्ष के निर्देशानुसार कोरोना संक्रमण से बचाव के हरसंभव उपाय किये जा रहे हैं. इसके लिए संसद परिसर तथा संसद भवन में प्रवेश के समय थर्मल गन और थर्मल स्कैनर से तापमान की जांच की जाएगी.
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इसके अलावा संसद परिसर में सैनिटाइज़ेशन की व्यवस्था की जाएगी. 40 स्थानों पर टचलैस सैनेटाइजर लगाए जाएंगे तथा इमरजेंसी मेडिकल टीम और एम्बुलेंस की व्यवस्था रहेगी. पूरे परिसर में COVID-19 से बचाव के दिशानिर्देशों को सख्ती से पालन किया जाएगा. लोकसभा चैम्बर में सोशल डिस्टेसिंग और अन्य दिशानिर्देशों का पालन किया जाएगा. सांसदों को अपनी बात बैठकर रखने की अनुमति भी दी जा रही है ताकि खड़े होकर बोलने पर संक्रमण के किसी खतरे की गुंजाइश नहीं रहे. इस बार संसद सत्र के दौरान आम लोगों को संसद परिसर में प्रवेश नहीं दिया जाएगा.
कोरोना के देखते हुए संक्रमण के खतरे को कम करने के लिए यह निर्णय किया गया है. सोशल डिस्टेंसिंग बनाए रखने के लिए दर्शक दीर्घाओं में सांसदों के बैठने की व्यवस्था की जाएगी.लोकसभा स्पीकर ने यह भी निर्देश दिया कि मानसून सत्र के दौरान अधिकारियों और कर्मचारियों की स्वास्थ्य जांच की व्यवस्था भी की जाए. इस सन्दर्भ में, कर्मचारियों के लिए विस्तृत गाइडलाइन बनाई जा रही हैं. आवश्यकता होने पर कर्मचारियों की संख्या भी कम की जा सकती है. मंत्रालयों की अधिकारियों एवं सांसदों के स्टाफ की भी जांच की व्यवस्था की जाएगी.इस के साथ, लोकसभा व राज्य सभा के मीडियाकर्मियों की अधिकतम संख्या 100 तक रखने का प्रस्ता्व है. मीडियाकर्मियों का भी कोविड टेस्ट अनिवार्य होगा.
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