यूपी पुलिस के निशाने पर ये टॉप बदमाश, विकास दुबे के बाद इस माफिया की आई बारी

विकास दुबे हत्या के बाद यूपी सरकार व यूपी पुलिस एक सक्रिय हो गई है। राज्य सरकार ने कानपुर कांड के बाद राज्य में ऑपरेशन क्लीन शुरू कर दिया है। मतलब  अब राज्य  के टॉप छटे हुए बदमाशों की धड़ पकड़ शुरु हो गई है।

Published by suman Published: July 19, 2020 | 10:43 am
Modified: July 19, 2020 | 10:51 am

गोरखपुर: विकास दुबे हत्या के बाद यूपी सरकार व यूपी पुलिस एक सक्रिय हो गई है। राज्य सरकार ने कानपुर कांड के बाद राज्य में ऑपरेशन क्लीन शुरू कर दिया है। मतलब  अब राज्य  के टॉप छटे हुए बदमाशों की धड़ पकड़ शुरु हो गई है।

 

यहां तक की एनसीआर के नोएडा और ग्रेटर नोएडा में तो पुलिस भी एक्शन में आ गई है। भदोही से 50 हजार का इनामी बदमाश ढ़ेर कर दिया गया। वहीं सुंदर भाटी समेत अनेक अपराधियों पर शिकंजा कसा जा रहा है।

 

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यूपी पुलिस का शिकंजा

8 पुलिस वालों की हत्या के आरोपी विकास के एनकाउंटर के बाद पुलिस अब दूसरे माफियाओं पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। गोरखपुर पुलिस ने माफिया विनोद उपाध्याय को गिरफ्तार किया है। धमकाने के मामले में माफिया विनोद की गिरफ्तारी की गई है।गोरखनाथ थाना क्षेत्र का हिस्ट्रीशीटर विनोद के खिलाफ धारा 384, 506 के तहत कार्रवाई की गई है। बताया जा रहा है कि शातिर विनोद उपाध्याय पर दर्ज 25 अपराधिक मुकदमें दर्ज हैं।

पुलिस के अनुसार विनोद उपध्याय  खिलाफ हत्या, रंगदारी, समेत तमाम संगीन मामलों में  लखनऊ, गोरखपुर, संतकबीरनगर जिले में दर्ज हैं। धमकी देने के मामले में कोतवाली थाना क्षेत्र के हुमांयुपुर दक्षिणी से आरोपी की गिरफ्तारी की गई है।

 

क्राइम ब्रांच और कोतवाली पुलिस की संयुक्त टीम ने ये गिरफ्तारी की है।  इस मामले का खुलासा करते हुए सीओ कोतवाली वीपी सिंह ने बताया है कि माफिया विनोद उपाध्याय पर आरोप है कि उसने शहर कोतवाली इलाके में इसी जून के आखिरी सप्ताह में एक कंपनी के मैनेजर से जबरन वसूली की थी।

ये मामला

जिस पर पीड़ित मैनेजर की शिकायत पर पुलिस ने केस भी दर्ज किया था । बताया जाता है कि विनोद उपाध्याय के किसी परिचित ने शव का दाह संस्कार की मशीन 37 लाख में खरीदी थी, लेकिन बदले में सिर्फ आठ हजार रुपये ही दिया था। बाकी का पैसा मैनेजर को नहीं लौटाया जा रहा था। इसी मामले में दर्ज मुकदमें की ट्रायल में कोर्ट में विनोद के हाजिर नहीं होने पर कोर्ट ने उसके खिलाफ एनबीडब्लू जारी कर दिया था।

 

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24 से ज्यादा संगीन मुकदमे

कानपुर कांड में आठ पुलिसकर्मियों की शहादत और उसके मुख्य आरोपी विकास दुबे के के बाद यूपी पुलिस का अभियान जारी है। लखनऊ व गोरखपुर पुलिस ने शुक्रवार देर रात गोरखपुर के हिस्ट्रीशीटर विनोद उपाध्याय को पकड़ा। उसकी कहानी भी कानपुर के विकास दुबे से मिलती-जुलती है। 24 से ज्यादा संगीन मुकदमे होने के बावजूद विनोद की चाहत विधायक बनने की रही है।

 

उसने गोरखपुर सदर से चुनाव भी लड़ा था। विनोद के समर्थक बड़ी संख्या में नई उम्र के लड़के हैं। वह विधायक तो नहीं बन सका लेकिन अपराध के साथ राजनीति में इतनी पैठ जरूर जमा ली थी कि पुलिस उसके इशारों पर नाचने लगी। अपराधिक मुकदमे दर्ज होने के बाद भी उसने वर्ष 2001 में शाहपुर थाने से रिपोर्ट लगवाकर अपना लाइसेंसी असलहा भी हासिल कर लिया था।