‘कथित कोरोना मरीज’ जबरन एडमिट, अस्पताल पर लगा ये बड़ा आरोप

वीडियो में कोरोना पॉजिटिव कई दूसरे मरीजों ने भी अपने आपको स्वस्थ बताते हुए अस्पताल पर गंभीर आरोप लगाए हैं। मरीज अस्पताल पर पैसा वसूलने के आरोप लगा रहे हैं।

इंदौर: पूरा देश इस समय कोरोना वायरस से जूझ रहा है। देश में आए दिन कोरोना संक्रमितों की संख्या बढ़ती जा रही है। लेकिन कोरोना के लगातार बढ़ते मामलों के बीच इंदौर के एक हॉस्पिटल में भर्ती एक मरीज का वीडियो वायरल हो रहा है। जिसमें मरीज के द्वारा अस्पताल पर एक चौंकाने वाला आरोप लगाया जा रहा है। वायरल वीडियो में मरीज ने खुद को और दूसरे मरीजों को पूरी तरह से स्वस्थ बताते हुए अस्पताल पर जबरन भर्ती रखकर पैसा वसूलने का आरोप लगाया है।

अस्पताल पर जबरन भर्ती करने का आरोप, वीडियो वायरल

इंदौर के इंडेक्स अस्पताल में भर्ती इस मरीज का वीडियो काफी तेजी से वायरल हो रहा है। वीडियो में मरीजों द्वारा कहा जा रहा है कि उन्हें ना तो सर्दी, ना खांसी और ना ही बुखार आया है। फिर भी उन्हें कोरोना पॉजिटिव बताकर अस्पताल में भर्ती करा दिया गया है। यहां भर्ती अधिकांश लोगों को कुछ नहीं हुआ है, लेकिन सबको भर्ती कर रखा है।

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और उनसे तगड़ी फीस वसूली जा रही है। वीडियो में कोरोना पॉजिटिव कई दूसरे मरीजों ने भी अपने आपको स्वस्थ बताते हुए अस्पताल पर गंभीर आरोप लगाए हैं। वीडियो में मरीज अस्पताल पर पैसा वसूलने के आरोप लगा रहे हैं।

अस्पताल प्रशासन ने दी मामले पर सफाई

वीडियो के तेजी से वायरल होने के बाद सीएमएचओ डॉक्टर प्रवीण जड़िया सामने आए और उन्होंने इस मामले पर अपनी सफाई दी। सीएमएचओ डॉक्टर प्रवीण जड़िया ने कहा कि अस्पताल में किसी मरीज से कोई पैसा नहीं लिया जाता। सरकार इनके इलाज का पैसा देती है। ऐसे में अस्पताल पर लूटपाट के आरोप लगाने का क्या मतलब है। मरीजों के अस्पताल में जबरन भर्ती रखने का आरोप भी गलत है। मरीजों की भर्ती के लिए मापदंड तय किए गए हैं। डॉक्टर जड़िया ने कहा कि यदि बिना लक्षण वाला मरीज है तो इंडेक्स में भर्ती करते हैं। मामूली लक्षण हैं तो एमआरटीबी और एमटीएच अस्पताल में भर्ती किया जाता है।

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और ज्यादा हालत खराब है तो अरबिंदो में भर्ती कराया जाता है। इंडेक्स अस्तपाल में जिन्हें भर्ती किया गया है उनका कोरोना टेस्ट हुआ था। रिपोर्ट पॉजिटिव आने पर अस्पताल में भर्ती किया गया। चूंकि ये मरीज बिना लक्षण वाले हैं इसलिए उन्हें ऐसा लग रहा है कि बेवजह भर्ती किया गया है। सीएमएचओ डॉ. प्रवीण जड़िया का कहना है कि कोरोना पॉजिटिव मरीजों का बिल राज्य सरकार भुगतान करती है। इसमें भी कैटेगरी हैं। यदि सामान्य मरीज है तो एक दिन का 1800 रुपए चार्ज लिया जाता है। यदि वेंटिलेटर लगे तो 2600 रुपए प्रतिदिन चार्ज होता है। और यदि मरीज आईसीयू में भर्ती है तो 4500 रुपए प्रतिदिन के हिसाब से अस्पताल को भुगतान किया जाता है।