
Bihar bridge news: पुल गिरने के मामले पर विपक्ष नीतीश कुमार को घेरती हुआ नजर आ रहा है
Bihar bridge news:बिहार में गोपालगंज (Gopalganj) और चंपारण (Champaran) को जोड़ने वाली सतर घाट पुल के संपर्क पथ पर बने ब्रिज के टूट जाने के मामले में 3 अलग-अलग FIR दर्ज हुई है. पुल गिरने के बाद प्रथम दृष्टया में निर्माण कार्य करने वाली कंपनी की लापरवाही सामने आ रही है, कंपनी ने पानी के तेज बहाव के लिए जो उपाय किए जाने थे, उसकी अनदेखी की. लेकिन प्राथमिकी में इस बात का उल्लेख कहीं भी नहीं है. विपक्षी दलों का कहना है कि सीएम नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) के इशारे पर पुल का निर्माण करने वाली कंपनी को बचाया जा रहा है और ध्यान भटकाने के लिए इधर उधर के लोगों पर मामला दर्ज किया जा रहा है.
बता दें कि इस मामले में पहली प्राथमिकी ठेकेदार के द्वारा दर्ज कराई गई है. ठेकेदार की FIR में गांव के निवासी उदय कुमार के खिलाफ आरोप दर्ज कराया गया है कि जब पानी का दबाव बढ़ रहा था और मजदूर बचाव कार्य कर रहे थे तब स्थानीय मुखिया के पति संजय कुमार वहां पहुंचकर गाली गलौज कालरने लगे. जिसके कारण मज़दूर और इंजीनियर काम छोड़कर चले गए. जिससे काम बाधित हुआ. दूसरी प्राथमिकी स्थानीय CEO पंकज कुमार के द्वारा दर्ज कराई गई हैं. जिनके अनुसार नियमों के विपरित कुछ लोग सतर घाट पुल के पास नारे लगा रहे थे और प्रदर्शन कर रहे थे.
वहीं तीसरी प्राथमिकी बिहार राज्य पुल निर्माण निगम के प्रोजेक्ट मैनेजर के द्वारा दर्ज कराई गई है जिसमें स्थानीय लोगों पर संपर्क पत्र को ध्वस्त करने और अभियंताओं और उनके साथ काम कर रहे कर्मचारियों पर दुर्व्यवहार करने का आरोप है.
लेकिन इस बात का जवाब किसी के पास नहीं था कि जब बचाव कार्य में बाधा डाला गया तो संपर्क पुल के टूटने के पूर्व ये प्राथमिकी क्यों दर्ज नहीं कराई गई. जहां तक पुल के टूटने का सवाल है, स्थानीय मुखिया के पति संजय कुमार ने घटना से दो दिन पहले एक वीडियो बनाया था जहां वो पुल की खामियों और घटिया गुणवत्ता को दिखा रहे हैं. यह वीडियो सोशल मीडिया पर भी खूब वायरल हो रहा है. तेजस्वी यादव ने भी इस वीडियो को ट्वीट किया है.
सरकार प्राकृतिक आपदा के नाम पर भारी घोटाले को दबाने की कोशिश कर रही हैं, मेरी मांग हैं की इसमें दोषी मंत्री, मुख्यमंत्री और सारे अधिकारी पर FIR दर्ज हो और हाई लेवल जाँच हों ! pic.twitter.com/1ECYmJaAuX
— Yashwant Sinha (@YashwantSinha) July 17, 2020
वहीं शुक्रवार को ख़ुद पूर्व केंद्रीय वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा ने इस इलाक़े का दौरा किया और कहा कि सरकार प्राकृतिक आपदा के नाम पर भारी घोटाले को दबाने की कोशिश कर रही हैं, मेरी मांग हैं की इसमें दोषी मंत्री, मुख्यमंत्री और सारे अधिकारी पर FIR दर्ज हो और हाई लेवल जांच हो.
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