
प्रतीकात्मक फोटो.
दिल्ली के सफदरजंग एनक्लेव इलाके में विदेश मंत्रालय से रिटायर्ड अफसर 92 साल की महिला कांता चावला की हत्या का मामला सुलझा लिया गया है. नेपाल बॉर्डर से दिल्ली पुलिस ने सिक्युरिटी गार्ड राजेश समेत चार लोगों ओम, ज्ञानेंद्र और प्रमोद को गिरफ्तार कर लिया है. प्रमोद को छोड़कर बाकी तीनों आरोपी नेपाली नागरिक हैं. इनके पास से घर से लूटा गया 55 हजार रुपये कैश और गहने मिले हैं.
आरोपियों ने हत्या के बाद दिल्ली से लखीमपुर जाने के लिए 12 हजार रुपये में टैक्सी की थी क्योंकि बसें और ट्रेनें वहां के लिए उपलब्ध नहीं हैं और इनको तुरंत भागना था. वे नेपाल जाने की फिराक में थे.
लूटपाट के मकसद से शनिवार रात कांता चावला की गला रेतकर हत्या की गई थी. कांता के पति बीआर चावला घायल हो गए थे. उनके हाथ बांध दिए थे. आरोपियों ने बताया की लूटपाट के वक्त कांता ने ज्यादा शोर मचाया इसलिए उनकी हत्या कर दी.
राजेश को 15 दिन पहले ही घर की नौकरानी के कहने पर नौकरी पर रखा गया था. बुज़ुर्ग दम्पति के दो बेटे थे, दोनों की मौत हो चुकी है. बेटों की पत्नियां और बच्चे अमेरिका में रहते हैं.