कट गई है सैलरी, नहीं चल पा रहा है काम तो इस योजना से जुड़कर बढ़ाएं अपनी मंथली इनकम

पोस्ट इंडिया की पॉपुलर स्कीम डाकघर मासिक आय योजना यानी कि Post Office Monthly Income Scheme Account - MIS में निवेश करने पर अकाउंटहोल्डर को हर महीने रिटर्न मिलता है. जो निवेशक हर महीने की एक बंधी-बंधाई इनकम चाहते हैं, उनके लिए यह स्कीम बेहतर है.

कट गई है सैलरी, नहीं चल पा रहा है काम तो इस योजना से जुड़कर बढ़ाएं अपनी मंथली इनकम

पोस्ट ऑफिस की इस पॉपुलर स्कीम में मिलता है हर महीने रिटर्न.

खास बातें

  • पोस्ट इंडिया की सबसे पॉपुलर सेविंग्स स्कीम
  • हर महीने मिलता तय इनकम का सोर्स
  • निवेश करने का अच्छा विकल्प

कोरोनावायरस के चलते लागू लॉकडाउन के बीच लोगों की सैलरी में कटौती की गई है. निजी कंपनियों में काम करने वाले लोगों की सैलरी जहां 10 से 40 फीसदी तक काटी गई है. वहीं सरकारी नौकरी में काम करने वाले लोगों को इस बार कई वेतन भत्ते नहीं मिलेंगे. अब लोग सोच रहे हैं कि इस नुकसान की भरपाई कैसे की जाए ताकि उनकी मंथली इनकम बढ़ सके. इसके लिए पोस्ट ऑफिस की इस स्कीम में निवेश करना एक बेहतर विकल्प हो सकता है. भारतीय डाक विभाग यानी पोस्ट इंडिया (Post India) कई तरह की बचत योजनाएं चलाता है. इंडिया पोस्ट फिलहाल कुल नौ बचत योजनाएं चलाता है - पोस्ट ऑफिस सेविंग्स अकाउंट, नेशनल सेविंग्स रिकरिंग डिपॉजिट अकाउंट, नेशनल सेविंग्स टाइम डिपॉजिट अकाउंट, नेशनल सेविंग्स मंथली इनकम अकाउंट, सीनियर सिटिजंस सेविंग्स स्कीम अकाउंट, पब्लिक प्रॉविडेंट फंड अकाउंट, नेशनल सेविंग्स सर्टिफिकेट्स अकाउंट, किसान विकास पत्र अकाउंट और सुकन्या समृद्धि अकाउंट. इनमें सबसे ज्यादा पॉपुलर योजनाओं में से एक है, डाकघर मासिक आय योजना, यानी Post Office Monthly Income Scheme Account - MIS. इस स्कीम में निवेश करने पर अकाउंटहोल्डर को हर महीने रिटर्न मिलता है.

जो निवेशक हर महीने की एक बंधी-बंधाई इनकम चाहते हैं, उनके लिए यह स्कीम बेहतरीन है. हम आपको यहां इस स्कीम से जुड़ी हर डिटेल के बारे में बता रहे हैं. 

कितना किया जा सकता है निवेश और क्या है मैच्योरिटी पीरियड?
इस योजना के तहत एकल खाता यानी कि सिंगल अकाउंटहोल्डर एक बार में न्यूनतम 1,000 से लेकर 4.5 लाख रुपये तक निवेश कर सकता है. वहीं अगर इस स्कीम के तहत जॉइंट अकाउंट खोला जाता है, तो निवेश की सीमा बढ़कर नौ लाख रुपये हो जाती है. इस योजना का मैच्योरिटी पीरियड पांच साल है. अगर आप प्रीमैच्योर विदड्रॉअल यानी अकाउंट के मैच्योर होने के पहले ही पैसे निकालना चाहते हैं तो आप ऐसा 12 महीने बाद ही कर सकते हैं और इसके लिए आपको पेनल्टी भी चुकानी होगी.

कितनी है ब्याज दर?
इस योजना के तहत मौजूदा समय में पांच सालों तक की निवेश अवधि में 6.6 प्रतिशत सालाना ब्याज अदा किया जाता है. यह ब्याज दरें वरिष्ठ नागरिकों की श्रेणी में आने वाले निवेशकों पर नहीं लागू होतीं, वे चाहें तो उनके लिए Senior Citizens Savings Scheme (SCSS) योजना उपलब्ध है. निवेश पर बनने वाले रिटर्न का हर महीने भुगतान कर दिया जाता है.

कौन कर सकता है निवेश?
इसमें कोई भी भारतीय वयस्क अपना अकाउंट खोल सकता है. जॉइंट अकाउंट भी खोला जा सकता है. सबसे खास बात यह है कि इसमें 10 साल से ऊपर के बच्चे भी अकाउंट खोल सकते हैं. किसी नाबालिग या फिर मानसिक रूप से अस्वस्थ व्यक्ति के नाम पर कोई अभिभावक भी अकाउंट खोल सकता है.

अकाउंट खुलवाने के लिए किन डॉक्यूमेंट्स की जरूरत होगी?
अकाउंट खुलवाने के लिए निवेशक को अकाउंट ओपनिंग का फॉर्म, पासपोर्ट साइज की फोटो और पहचान पत्र में PAN, आधार, वोटर आईडी, ड्राइविंग लाइसेंस या फिर पासपोर्ट की जरूरत होगी. 

अकाउंट कैसे खुलवा सकते हैं?
आपको इसके लिए अपने करीबी पोस्ट ऑफिस जाना होगा, इसके लिए फिलहाल कोई ऑनलाइन सुविधा नहीं है. यहां सेविंग्स अकाउंट खुलवाने के लिए एप्लीकेशन फॉर्म भरकर जरूरी दस्तावेज जमा करने होंगे. आपको अपना नॉमिनी चुनना होगा, जिसके बाद आप कैश या चेक के जरिए अपने अकाउंट में पैसे जमा कर सकते हैं. आप ऐप्लीकेशन फॉर्म यहां से डाउनलोड कर सकते हैं- https://www.indiapost.gov.in/VAS/DOP_PDFFiles/form/SB-3.pdf

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टैक्स बेनेफिट?
हालांकि, इस स्कीम पर कोई टैक्स बेनेफिट नहीं है, वहीं प्रति महीने बनने वाले ब्याज पर टैक्स कटता है. हां, मिलने वाले ब्याज पर कोई TDS नहीं कटता और डिपॉजिट टैक्सफ्री जरूर है.

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