
हरदोई: परिवहन विभाग की ओर से आवगमन में सुविधा के लिए संचालित की गई परिवहन निगम की बसों में भी फर्जीवाड़ा सामने आया। निगम का लोगो लगाकर दिल्ली रूट पर संचालित हो रही निजी बस को विभाग के अधिकारियों ने रंगे हांथों फर्जीवाड़ा करते पकड़ा है। बस को सीज कर दिया गया है। चालक समेत बस के मालिक पर एफआईआर दर्ज कराई गई है। इस मामले ने निगम को चौंका कर रख दिया।
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मालूम हो कि उत्तर प्रदेश परिवहन की बसें यात्रियों को सेवा प्रदान कर रही है। इसमें कुछ बसों को अनुबंधित भी किया गया हैं। जिन पर विभाग का लोगो लगाया जाता है। बसो का अनुबंध किए जाने पर बाकायदा रोडवेज की भांति ही टिकट मशीन, सेवा यात्रियों को दी जाती हैं। इस बाबत रीजन के एआरएम आरबी यादव ने बताया कि कई दिनो से जानकारी मिल रही थी कि एक बस ऐसी भी संचालित हो रही है जिसको न तो निगम ने अनुबंध किया है न ही उसको यातायात विभाग से मंजूरी दी गई है। इसपर अधिकारी सजग हो गए और मौके की तलाश में लग गए।
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गुरूवार को अचानक निगम के रंगों में रंगी करीब 45 यात्रियों से भरी निजी बस अचानक शहर आ पहुंची। इसपर एआरएम आरबी यादव ने इसकी जानकारी एआरटीओ दीपक शाह को दी। रोडवेज बस अड्डे से कुछ पहले ही इस नकली बस को रोका गया। इस बस पर बाकायदा उप्र परिहवन निगम से अनुबंधित की जानकारी आदि लिखी हुई थी। यात्रियों से पूंछताछ की गई तो जानकारी हुई कि निर्धारित किराए से अतिरिक्त वसूली परिचालक ने की है।
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इस बाबत एआरएम ने बताया कि यूपी 56 टी 2752 बस को सीज कर दिया गया। बस मेरठ के रहने वाले किसी शाहनवाज के नाम हैं। चालक नौशाद को हिरासत में पुलिस ले गई हैं। उससे पूंछताछ की गई है। आरोपियों के खिलाफ सरकारी संपत्तियों का दुष्प्रयोग करने, जालसाजी, यात्रियों से अवैध धन उगाही, निगम को क्षति पहुंचाने की धाराओं में शहर कोतवाली में एफआईआर दर्ज कराई गई है। आरोपी बस मालिक की तलाश की जा रही हैं