
नयी दिल्ली: चुनाव आयोग इस बात की जांच करेगा कि उपग्रह भेदी मिसाइल के सफल इस्तेमाल की जानकारी देश को देने के लिये बुधवार को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का संबोधन चुनाव आचार संहिता के उल्लंघन के दायरे में है या नहीं।
आयोग की ओर से देर शाम जारी बयान के अनुसार, इस मामले में एक समिति का गठन किया गया है।
आयोग ने वैज्ञाानिकों की इस उपलब्धि का राजनीतिक इस्तेमाल कर चुनावी लाभ लेने के लिये प्रधानमंत्री द्वारा देश को संबोधित करने की विभिन्न दलों की शिकायत मिलने के बाद इसकी जांच के लिये समिति का गठन किया है।
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आयोग ने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री द्वारा इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के माध्यम से देश को संबोधित करने का मामला आयोग के संज्ञान में लाया गया है।
आयोग ने चुनाव आचार संहिता लागू होने के बीच अधिकारियों की समिति गठित कर तत्काल इस तामले की जांच करने का निर्देश दिया।’’
उल्लेखनीय है कि माकपा के महासचिव सीताराम येचुरी ने चुनाव आयोग को पत्र लिखकर कहा कि चुनाव के दौरान प्रधानमंत्री ने वैज्ञानिकों की उपलब्धि का राजनीतिक लाभ लेने के लिये देश को संबोधित किया और यह आचार संहिता का उल्लंघन है।
येचुरी ने आयोग से यह भी पूछा कि क्या प्रधानमंत्री ने आयोग से अनुमति लेकर देश को संबोधित किया।
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इससे पहले प्रधानमंत्री के संबोधन के बाद आयोग के सूत्रों ने बताया था कि राष्ट्रीय सुरक्षा एवं आपदा प्रबंधन संबंधी मामले चुनाव आचार संहिता के दायरे में नहीं आते।
यह पूछे जाने पर कि उपग्रह भेदी मिसाइल क्षमता के सफल प्रयोग की जानकारी देश के साथ साझा करने के लिये प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संबोधन क्या आचार संहिता का उल्लंघन है, अधिकारी ने कहा, ‘‘कैबिनेट सुरक्षा समिति की बैठक हुई थी।
उसके लिए निर्णय और आपदा प्रबंधन जैसे मामले आचार संहिता के दायरे में नहीं आते हैं। इन मामलों में आयोग की पूर्व मंजूरी की आवश्यकता नहीं है।’’
(भाषा)