रेलवे में असिस्टेंट लोको पायलट (Assistant Loco Pilot-ALP) का रोल काफी अहम होता है. असिस्टेंट लोको पायलट ट्रेन ड्राइवर करने में लोको पायलट की मदद करता है. असिस्टेंट लोको पायलट की नौकरी के लिए लगातार ध्यान बनाये रखने और तुरंत कार्य करने की क्षमता होना बहुत जरूरी है. असिस्टेंट लोको पायलट ट्रेन को ड्राइव करते समय लोको पायलट के कार्यों जैसे सिग्नल भेजना, लोको के सही तरीके से चलते रहने और छोटी-मोटी रिपेयरिंग को ठीक करने में मदद करता है.
रेलवे में असिस्टेंट लोको पायलट को प्रमोशन देकर सीनियर असिस्टेंट लोको पायलट और उसके बाद लोको पायलट बनाया जाता है. लोको पायलट के बाद उम्मीदवार पॉवर कंट्रोलर, क्रू कंट्रोलर, लोको फोरमैन (लोको सुपरवाइजर) बन सकते हैं. इन पदों पर बिना लोको में ट्रवेल किये रनिंग अलाउंस मिलता है.
असिस्टेंट लोको पायलट के लिए आवश्यक शैक्षणिक योग्यता
रेलवे में असिस्टेंट लोको पायलट बनने के लिए उम्मीदवारों के पास मैट्रिकुलेशन या समकक्ष उत्तीर्ण होना चाहिए और एक्ट अप्रेंटिस कंपलीट या आइटीआइ पास या एआइसीटीआइ से मान्यता प्राप्त मेकेनिकल/इलेक्ट्रिकल/ इलेक्ट्रॉनिक्स / ऑटोमोबाइल इंजीनियरिंग में डिप्लोमा या कोई उच्च शैक्षणिक/तकनीकी योग्यता होनी चाहिए.
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असिस्टेंट लोको पायलट के लिए आवश्यक आयु सीमा
रेलवे में असिस्टेंट लोको पायलट बनने के लिए उम्मीदवारों की न्यूनतम आयु 18 वर्ष और अधिकतम आयु 28 वर्ष होनी चाहिए. हालांकि, आरक्षित श्रेणियों, जैसे – एससी, एसटी, एक्स-सर्विसमैन, पीडब्ल्यूडी, आदि, को क्रेंद्रीय कर्मचारियों से संबंधित नियमों के अनुसार अधिकतम आयु सीमा में छूट दी जाती है.
असिस्टेंट लोको पायलट की चयन प्रक्रिया
असिस्टेंट लोको पायलट की चयन प्रक्रिया में लिखित परीक्षा, अभिरूचि परीक्षा और डॉक्यूमेंट वेरिफिकेशन शामिल होता है. विभिन्न रेलवे भर्ती बोर्डों में आवेदन के पश्चात शैक्षणिक योग्यता के अनुसार प्राप्त आवेदनों में से सही उम्मीदवारों की शार्टलिस्टिंग की जाती है. जिसके बाद चयन प्रक्रिया आरंभ होती है जिसमे दो चरण होते हैं – फर्स्ट स्टेज सीबीटी (कंप्यूटर बेस्ड टेस्ट - CBT) और सेकेंड स्टेज सीबीटी (कंप्यूटर बेस्ड टेस्ट - CBT). फर्स्ट स्टेज सीबीटी कुल 60 मिनट की होती है जिसमें कुल 75 प्रश्न पूछे जाते हैं. इसी प्रकार सेकेंड स्टेज सीबीटी कुल 150 मिनट की होती है जिसमें दो हिस्से –पार्ट A एवं पार्ट B, होते हैं. पार्ट A 90 मिनट का होता है जिसमें कुल 100 प्रश्न होते हैं जबकि पार्ट B 60 मिनट का होता है जिसमे 75 प्रश्न होते हैं.
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दोनों ही चरणों में सफल होने वाले उम्मीदवारों को एक और कंप्यूटर बेस्ड एप्टीट्यूड टेस्ट (CBAT) से गुजरना होता है. सीबीएटी परीक्षा में सफल घोषित उम्मीदवारों को डॉक्यूमेंट वेरीफिकेशन के लिए बुलाया जाता है. असिस्टेंट लोको पायलट के लिए आयोजित होने वाली फर्स्ट स्टेज सीबीटी और सेकेंड स्टेज सीबीटी में 1/3 निगेटिव मार्किंग भी होती है. जिसके अनुसार प्रति तीन गलत उत्तरों के लिए एक अंक काट लिये जाते हैं.
असिस्टेंट लोको पायलट को मिलने वाला वेतन एवं भत्ते
रेलवे में असिस्टेंट लोको पायलट को 7वें वेतन आयोग पे-मैट्रक्स के लेवल-2 के साथ रु.1900/ का इनिशियल पे और अन्य लागू भत्ते दिये जाते हैं. भत्तों में डियरनेस अलाउंस, रनिंग अलाउंस, हाउस रेंट अलाउंस, नाइट ड्यूटी अलाउंस और ट्रांसपोर्ट अलाउंस दिया जाता है.
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इस प्रकार रेलवे में असिस्टेंट लोको पायलट की भूमिका जहां काफी अहम होती है और पद पर नियुक्त होने के बाद कैरियर में आगे बढ़ने के बहुत से ऑप्शंन होते हैं. असिस्टेंट लोको पायलट की चयन प्रक्रिया में सफल होने के बाद ही ट्रेनिंग और नियुक्ति दी जाती है. अन्य पदों की तरह ही असिस्टेंट लोको पायलट की सैलरी सातवें वेतन आयोग में बढ़ोत्तरी हुई.